मैं सितारों के ख्वाब बुनता हूं

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एक शायर की मृत्यु के छह सौ साल बाद भी आज भी उसके देश का कोई ऐसा घर न होगा जहाँ उसके शेर गुनगुनाए न जा

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Rajeev Kumar Jha

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